छत्तीसगढ

पांच फर्जी ड्रग इंस्पेक्टर गिरफ्तार – NNSP

दवा दुकानों पर छापेमारी करने, दुकान संचालकों को डराने-धमकाने और नकली दवाओं के नमूने लेने के नाम पर वसूली करने के आरोप में पांच फर्जी ड्रग इंस्पेक्टरों को गिरफ्तार किया गया है। पुलिस ने सभी आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है।

धमधा थाना प्रभारी पीडी चंद्रा ने बताया कि, धमधा के धूमा निवासी रघुनंदन प्रसाद वर्मा 68 वर्ष ने शिकायत दर्ज कराई है कि वे खेती-किसानी का काम करते हैं। उनके बेटे दिलेंद्र कुमार वर्मा ने तीन साल पहले लाइसेंस लेकर घर में ही मेडिकल दुकान खोली थी। गुरुवार की दोपहर वे सिलपट्टी गांव में एक पुण्यतिथि समारोह में शामिल हुए थे।

खुद को बताया ड्रग इंस्पेक्टर

इस दौरान दुकान पर बैठे लड़के ने बताया कि, एक व्यक्ति ने फोन करके खुद को ड्रग इंस्पेक्टर बताते हुए बिना लाइसेंस के दवा दुकान चलाने पर कार्रवाई की धमकी दी है। साथ ही उसने खैरागढ़ कलेक्ट्रेट में मिलने के लिए बुलाया है।

अपने बेटे से बातचीत खत्म करने के बाद, रधुनंदन ने अपनी बहू को फोन किया। उन्होंने उसे बताया कि, पांच लोग स्कॉर्पियो (सीजी 17 केएच 8580) में उनके घर पहुंचे, उन्होंने खुद को ड्रग इंस्पेक्टर बताया। वे मेडिकल स्टोर में घुसे और बिना लाइसेंस के दुकान चलाने के लिए मालिक को जेल भेजने की धमकी देने लगे। इसके अलावा, वे सैंपल के तौर पर कुछ दवाएं भी अपने साथ ले गए।

पुलिस ने पांचों संदिग्धों को किया गिरफ्तार

शाम को घर लौटने पर मुलाकात ग्राम खैरझिटी निवासी वैद्यराज जोहन लाल वर्मा से हुई। उन्हें घटनाक्रम बताते हुए उन्होंने बताया कि, एक स्कॉर्पियो गाड़ी में पांच लोग आए और खुद को ड्रग इंस्पेक्टर बताते हुए आयुर्वेदिक दवाओं के दो डिब्बे ले गए। बुजुर्ग की शिकायत के बाद, पुलिस ने पांचों संदिग्धों की पहचान मनीष जंघेल, भूषण वर्मा, तरण वर्मा, ताकेश्वर जंघेल और अथेनमणि अंचित के रूप में की, जो सभी पंडरिया कवर्धा के निवासी हैं।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button